BJP जिला अध्यक्षों की सूची तैयार, जबलपुर समेत भोपाल इंदौर और ग्वालियर मैं नाम पर जबर्दस्त खींचतान - khabarupdateindia

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BJP जिला अध्यक्षों की सूची तैयार, जबलपुर समेत भोपाल इंदौर और ग्वालियर मैं नाम पर जबर्दस्त खींचतान


रफीक खान
मध्य प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी के संगठन चुनाव को लेकर जमकर तैयारी चल रही हैं। इस समय जिला अध्यक्षों की नियुक्ति के लिए तमाम तरह के मंथन और कवायद हो चुकी हैं। सूची भी लगभग तैयार हो चुकी है लेकिन चार महानगरों जबलपुर, भोपाल, इंदौर और ग्वालियर मैं अध्यक्ष के नाम को लेकर खींचतान का दौर खत्म नहीं हुआ है। चार महानगरों के दिग्गज नेताओं में एक राय नहीं बन पाई है। जिससे जिम्मेदार भी निर्णय लेने में असमंजस की स्थिति में फंसे हुए हैं। अगर आला कमान का आदेश हो जाता है तो सोमवार की रात तक ही लिस्ट जारी हो सकती है। BJP district presidents list is ready, fierce tussle over names in Jabalpur, Bhopal, Indore and Gwalior

भाजपा सूत्रों के मुताबिक कहा जाता है कि जबलपुर में संगठन व उमा भारती, मंत्री प्रहलाद पटेल गुट से शरद अग्रवाल, संगठन की ओर से राजेश मिश्रा, रिंकू बिज और मंत्री राकेश सिंह गुट से संदीप जैन गुड्डा तथा एक अन्य नाम पर विचार किया गया है। भोपाल के लिए प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा गुट से रविंद्र यती, तीन विधायकों की ओर से जगदीश यादव, शिवराज गुट से किशन सूर्यवंशी व वंदना जाचक और एक अन्य नाम की चर्चा है।इंदौर में मंत्री कैलाश विजयवर्गीय गुट से टीनू जैन, पूर्व विधायक रमेश मेंदोला गुट से सुमित मिश्रा, प्रदेश संगठन महामंत्री हितानंद गुट से सविता अखंडे, दिलीप शर्मा व एक अन्य सावंत सोनकर का नाम बताया जा रहा है। ग्वालियर के लिए विस अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर गुट से रामेश्वर भदौरिया, केंद्रीय मंत्री सिंधिया गुट से शैलेंद्र बरुआ, विवेक शेजवलकर गुट से जयप्रकाश राजौरिया और प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा गुट से एक अन्य नाम की चर्चा है। वही आल्हा कमान पहले यह बात स्पष्ट कर चुके हैं कि जिन जिला अध्यक्षों को पांच साल का कार्यकाल पूरा हो गया है, उन्हें दोबारा जिम्मेदारी नहीं दी जाएगी। हालांकि इस सबके बावजूद सागर से गौरव सिरोठिया, इंदौर से गौरव, देवास से राजू खंडेलवाल, भोपाल से सुमित पचौरी जैसे 12 जिला अध्यक्ष मैदान छोडऩे को तैयार नहीं हैं। वही यह भी खबर मिल रही है कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की ओर से सुझाए गए नामों को भी दिग्गज नेताओं की आपसी खींचतान के चलते नजरअंदाज किया जा रहा है। कुछ वरिष्ठ नेता चाहते हैं कि प्रदेश भाजपा अध्यक्ष के रहते उनके प्रभाव वाले जिलों के अध्यक्षों की सूची जारी न हो, ताकि नए भाजपा प्रदेश अध्यक्ष से मर्जी का अध्यक्ष बनवा सकें। सागर में गोविंद सिंह राजपूत के कारण भूपेंद्र सिंह और गोपाल भार्गव की नहीं चल पा रही है।