रफीक खान
कोई आईएएस अधिकारी अगर लोगों से सामान्य से भी नीचे वर्ग के लिए बनी योजना के लिए रुपयों-पैसे की मांग करने लगे तो निश्चित तौर पर यह सुनने और देखने वाला दंग ही रह जाएगा कि आखिर कलेक्टर जैसे जिले के मुखिया वाले पद पर बैठे आईएएस अधिकारी से ऐसी कौन उम्मीद कर सकता है? मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में भी ऐसा ही हुआ, भोपाल कलेक्टर कौशलेंद्र विक्रम सिंह के नाम से सोशल मीडिया पर जब संबल योजना के नाम पर पैसों की डिमांड को लोगों ने देखा तो हड़कंप मच गया। लोगों ने इस बात को कलेक्टर कौशलेंद्र विक्रम सिंह तक पहुंचाया और इसकी सत्यता जानी, तब पता चला कि किसी ने उनके नाम से फर्जी आईडी बनाकर यह करतूत की है। मामले की शिकायत साइबर क्राइम पुलिस तथा क्राइम ब्रांच पुलिस को कर दी गई है। पुलिस की दोनों यूनिट जांच कर रही हैं। Collector asked for money from people in the name of Sambal Yojana! People were stunned to see, there was a commotionजानकारी के मुताबिक कहा जाता है कि भोपाल कलेक्टर विक्रम कौशलेन्द्र विक्रम सिंह की तस्वीर लगाकर शातिर ठगों ने एक फेक आईडी बनाई और उसी के जरिए वो लोगों को मैसेज कर पैसों की डिमांड कर रहे हैं। बताया गया है कि ठग 3-10 हजार रुपए मांग रहे हैं और भोपाल के फंदा जनपद क्षेत्र के 2-3 लोगों ने तो 10 हजार रुपए ट्रांसफर भी कर दिए। बैरसिया जनपद इलाके में भी लोगों के पास कलेक्टर के नाम पर पैसे मांगने वाले फर्जी कॉल पहुंचे। कलेक्टर के नाम पर हो रही ठगी का खुलासा उस वक्त हुआ, जब जनपद स्तर पर ग्राम पंचायत सचिव और रोजगार सहायकों को मैसेज किए गए। जिसमें लिखा है, सभी सचिव एवं जीआरएस मेरे भेजे गए इन नंबरों को देख लें, यह फर्जी आईडी से संबल योजना की राशि डालने के लिए फोन करता है। कृपया कोई भी इस पर ध्यान न दें। वहीं कलेक्टर कौशलेन्द्र सिंह ने कहा है कि यह फर्जी आईडी है। जिसने भी यह फर्जी आईडी तैयार की है, वह कलेक्टर के नाम पर पैसों की मांग कर रहा है। यदि ऐसी स्थितियां किसी भी नागरिक के सामने आती है तो वह पैसा देने के लिए कतई तैयार ना हो बल्कि तत्काल पुलिस को सूचित कर शिकायत दर्ज करवाए।