Rafique Khan
मध्य प्रदेश के नए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा जारी मांस - मछली के खुले में बिक्री रोकने संबंधी आदेश के बाद मुस्लिम तबका भी जागरूक व सक्रिय हो गया है। इलाके में गंदगी को दूर करने के उद्देश्य से मुस्लिम जनप्रतिनिधि लगातार जन जागरण कर रहे हैं। इसी कड़ी में जबलपुर के मुस्लिम जनप्रतिनिधियों ने सर्वप्रथम मंडी मदार टेकरी स्थित कसाई मंडी के मुख्य मार्ग से सारी दुकानों को बंद करने का निर्णय लिया। अब मुस्लिम जनप्रतिनिधियों ने नगर निगम आयुक्त स्वप्निल वानखेड़े से मुलाकात की और गुरंदी के पुराने बीफ मीट मार्केट को रिनोवेटेड कराने की मांग की। मुस्लिम जनप्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री की मंशा और आदेश का हवाला देते हुए कहा कि गुरंदी का यह मीट मार्केट जितने जल्दी हो रिनोवेटेड कराया दिया जाए।
मुस्लिम समाज के पार्षद सरदार अख्तर अंसारी, सरदार आमीन कुरैशी, इरशाद राईन गुड्डू तथा शाकिर कुरैशी ने बताया कि मुख्यमंत्री के निर्देशों के परिपालन में निगम प्रशासन द्वारा खुले में बिकने वाले मांस-मटन की दुकानों पर कार्रवाई की जा रही है। मुख्यमंत्री के ही निर्देशों के मुताबिक खुले में व्यापार करने वाले इन व्यापारियों के लिए हरेक जिले में शेड बनाकर व्यवस्थित मार्केट भी बनाए जाएंगे। जबलपुर की बात करें तो गुरंदी क्षेत्र में पुराना बीफ-मीट मार्केट है। जो अब जर्जर हालत में है। कभी ये मार्केट में दर्जनों दुकानों और सैकड़ों ग्राहकों से गुलजार हुआ करता था। इसी पुराने मार्केट के जीणो$र्ंद्धार की मांग के चलते मुस्लिम जनप्रतिनिधि मंडल ने निगमायुक्त को ज्ञापन सौंपा है।
पुराने मार्केट को फिर से आबाद कर आवंटित करने की मांग
मुस्लिम जनप्रतिनिधि मंडल में शामिल मौलाना आजाद वार्ड के पार्षद अख्तर अंसारी, आमीन कुरैशी, शाकिर कुरैशी आदि ने निगमायुक्त स्वप्निल वानखेड़े को बताया कि बेलबाग थानांर्गत गुरंदी क्षेत्र का ये मार्केट अपने जमाने में काफी मशहूर था, शहरवासी बीफ-मीट-मछली आदि खरीदने इसी मार्केट का रुख करते थे। लेकिन समय के साथ मार्केट ने कदमताल नहीं की और जर्जरता की हालत में पहुंच गया। नतीजा ये हुआ कि धीरे-धीरे पहले दुकानदारों ने इस मार्केट से किनारा किया। फिर ग्राहकों ने भी यहां पहुंचना बंद कर दिया। इस मार्केट के बंद होने का असर ये हुआ कि धीरे-धीरे रिहायशी इलाकों में जरूरत के मुताबिक दुकानें खुलती गईं और खुले में मांस-मटन की बिक्री शुरू हो गई। मुस्लिम जनप्रतिनिधि मंडल ने निगमायुक्त से इस पुराने मार्केट को फिर से आबाद कर दुकानदारों को आवंटित किए जाने की मांग करते हुए कहा कि ऐसा करने से खुले में बिकने वाले बीफ-मीट पर लगाम लगेगी। इसके अलावा स्वत्छता की दृष्टि से शहरवासियों भी राहत की सांस ले सकेंगे। ज्ञापन सौंपने के दौरान बहार अहमद अंसारी, गुड्डू राईन, कलीम खान, अधिवक्ता सलीम खान, मुब्बशिर चौधरी, हामिद खान, अफ़ज़ल राजू, शाकिर क़ुरैशी, मुन्ना बाबू, शेख फिरोज आदि के साथ अन्य मौजूद रहे।
मध्य प्रदेश के नए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा जारी मांस - मछली के खुले में बिक्री रोकने संबंधी आदेश के बाद मुस्लिम तबका भी जागरूक व सक्रिय हो गया है। इलाके में गंदगी को दूर करने के उद्देश्य से मुस्लिम जनप्रतिनिधि लगातार जन जागरण कर रहे हैं। इसी कड़ी में जबलपुर के मुस्लिम जनप्रतिनिधियों ने सर्वप्रथम मंडी मदार टेकरी स्थित कसाई मंडी के मुख्य मार्ग से सारी दुकानों को बंद करने का निर्णय लिया। अब मुस्लिम जनप्रतिनिधियों ने नगर निगम आयुक्त स्वप्निल वानखेड़े से मुलाकात की और गुरंदी के पुराने बीफ मीट मार्केट को रिनोवेटेड कराने की मांग की। मुस्लिम जनप्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री की मंशा और आदेश का हवाला देते हुए कहा कि गुरंदी का यह मीट मार्केट जितने जल्दी हो रिनोवेटेड कराया दिया जाए।
मुस्लिम समाज के पार्षद सरदार अख्तर अंसारी, सरदार आमीन कुरैशी, इरशाद राईन गुड्डू तथा शाकिर कुरैशी ने बताया कि मुख्यमंत्री के निर्देशों के परिपालन में निगम प्रशासन द्वारा खुले में बिकने वाले मांस-मटन की दुकानों पर कार्रवाई की जा रही है। मुख्यमंत्री के ही निर्देशों के मुताबिक खुले में व्यापार करने वाले इन व्यापारियों के लिए हरेक जिले में शेड बनाकर व्यवस्थित मार्केट भी बनाए जाएंगे। जबलपुर की बात करें तो गुरंदी क्षेत्र में पुराना बीफ-मीट मार्केट है। जो अब जर्जर हालत में है। कभी ये मार्केट में दर्जनों दुकानों और सैकड़ों ग्राहकों से गुलजार हुआ करता था। इसी पुराने मार्केट के जीणो$र्ंद्धार की मांग के चलते मुस्लिम जनप्रतिनिधि मंडल ने निगमायुक्त को ज्ञापन सौंपा है।
पुराने मार्केट को फिर से आबाद कर आवंटित करने की मांग
मुस्लिम जनप्रतिनिधि मंडल में शामिल मौलाना आजाद वार्ड के पार्षद अख्तर अंसारी, आमीन कुरैशी, शाकिर कुरैशी आदि ने निगमायुक्त स्वप्निल वानखेड़े को बताया कि बेलबाग थानांर्गत गुरंदी क्षेत्र का ये मार्केट अपने जमाने में काफी मशहूर था, शहरवासी बीफ-मीट-मछली आदि खरीदने इसी मार्केट का रुख करते थे। लेकिन समय के साथ मार्केट ने कदमताल नहीं की और जर्जरता की हालत में पहुंच गया। नतीजा ये हुआ कि धीरे-धीरे पहले दुकानदारों ने इस मार्केट से किनारा किया। फिर ग्राहकों ने भी यहां पहुंचना बंद कर दिया। इस मार्केट के बंद होने का असर ये हुआ कि धीरे-धीरे रिहायशी इलाकों में जरूरत के मुताबिक दुकानें खुलती गईं और खुले में मांस-मटन की बिक्री शुरू हो गई। मुस्लिम जनप्रतिनिधि मंडल ने निगमायुक्त से इस पुराने मार्केट को फिर से आबाद कर दुकानदारों को आवंटित किए जाने की मांग करते हुए कहा कि ऐसा करने से खुले में बिकने वाले बीफ-मीट पर लगाम लगेगी। इसके अलावा स्वत्छता की दृष्टि से शहरवासियों भी राहत की सांस ले सकेंगे। ज्ञापन सौंपने के दौरान बहार अहमद अंसारी, गुड्डू राईन, कलीम खान, अधिवक्ता सलीम खान, मुब्बशिर चौधरी, हामिद खान, अफ़ज़ल राजू, शाकिर क़ुरैशी, मुन्ना बाबू, शेख फिरोज आदि के साथ अन्य मौजूद रहे।